आज मेरे बाबा को,
किसने सजा दिया,
सोणे से मुखड़े पे,
सोणे से मुखड़े पे,
टिका लगा दिया,
आज मेरें बाबा को,
किसने सजा दिया।।

सांवरी सूरत मन को लुभाए,
मंद मंद होंठो से मुस्काए,
नैनो से सांवरे ने जादू चला दिया,
आज मेरें बाबा को,
किसने सजा दिया।।

गेंदा गुलाब चम्पा चमेली,
रजनीगंधा की छटा अलबेली,
इत्र की खुशबु ने सबको महका दिया,
आज मेरें बाबा को,
किसने सजा दिया।।

तेरा वंदन तुझे अभिनन्दन,
जन्म जनम तक टूटे ना बंधन,
तेरी शरण में आके सबकुछ भुला दिया,
आज मेरें बाबा को,
किसने सजा दिया।।

तुझको देखूं वारि वारि जाऊं,
नजर उतारूं तुमको मनाऊं,
आँखों में काजल सुरमा लगा दिया,
आज मेरें बाबा को,
किसने सजा दिया।।

आज मेरे बाबा को,
किसने सजा दिया,
सोणे से मुखड़े पे,
सोणे से मुखड़े पे,
टिका लगा दिया,
आज मेरें बाबा को,
किसने सजा दिया।।

Author: Unkonow Claim credit

Comments

संबंधित लेख

आगामी उपवास और त्यौहार

शनि जयंती

Tuesday, 27 May 2025

शनि जयंती

संग्रह